(बाल गंगाधर तिलक) BAL GANGADHAR TILAK in Hindi | Jivani | Jeevan Parichay | Essay
बाल गंगाधर तिलक का जीवन परिचय (Bal Gangadhar Tilak Jivani in Hindi):
Given below some lines for Short Essay / Jeevan Parichay of Bal Gangadhar Tilak in Hindi.
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'बाल गंगाधर तिलक' भारत देश के एक महान नेता तथा राजनीतिज्ञ थे। उनका जन्म महाराष्ट्र प्रान्त में हुआ था। उनकी शिक्षा पूना के दकन कालिज में हुई थी। उन्होंने वकालत की उपाधि भी प्राप्त की किन्तु इस व्यवसाय में हाथ ना डाला। उन्होंने अपना सम्पूर्ण जीवन देश-सेवा के लिए अर्पित कर दिया।
सर्वप्रथम उन्होंने एक स्कूल स्थापित किया और उसमे अध्यापक हो गए। उन्होंने 'केसरी' और 'मराठा' नमक दो समाचार-पत्रों का सम्पादन किया। इन समाचार-पत्रों ने लोगों में राष्ट्रीय जागृति पैदा की। देश को स्वतंत्र कराने के लिए उन्होंने अनेक कार्य किये। ब्रिटिश सरकार ने समझा कि वे लोगों को हिंसात्मक कार्यों के लिए उकसाते हैं। इसलिए उन्हें छः वर्ष के लिए बर्मा प्रदेश के मांडले नगर में निर्वासित कर दिया।
बाल गंगाधर तिलक पहले भारतीय नेता थे जिन्होंने यह कहा, "स्वराज्य मेरा जन्म सिद्ध अधिकार है। मैं इसे लेकर रहूँगा।" वह संस्कृत और गणित के प्रकांड पंडित थे।
सर्वप्रथम उन्होंने एक स्कूल स्थापित किया और उसमे अध्यापक हो गए। उन्होंने 'केसरी' और 'मराठा' नमक दो समाचार-पत्रों का सम्पादन किया। इन समाचार-पत्रों ने लोगों में राष्ट्रीय जागृति पैदा की। देश को स्वतंत्र कराने के लिए उन्होंने अनेक कार्य किये। ब्रिटिश सरकार ने समझा कि वे लोगों को हिंसात्मक कार्यों के लिए उकसाते हैं। इसलिए उन्हें छः वर्ष के लिए बर्मा प्रदेश के मांडले नगर में निर्वासित कर दिया।
बाल गंगाधर तिलक पहले भारतीय नेता थे जिन्होंने यह कहा, "स्वराज्य मेरा जन्म सिद्ध अधिकार है। मैं इसे लेकर रहूँगा।" वह संस्कृत और गणित के प्रकांड पंडित थे।
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